DRDO Internship 2025: रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) ने वर्ष 2025 के लिए इंटर्नशिप कार्यक्रम की घोषणा आकर दी है, जो विज्ञान और इंजीनियरिंग के छात्रों को रक्षा क्षेत्र में अत्याधुनिक तकनीकों और अनुसंधान परियोजनाओं पर काम करने का मौका प्रदान करता है। डीआरडीओ की इंटर्नशिप योजना का उद्देश्य छात्रों को रक्षा प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में व्यावहारिक प्रशिक्षण प्रदान करना है।
यह अवसर इंजीनियरिंग और सामान्य विज्ञान के छात्रों को डीआरडीओ की प्रयोगशालाओं और प्रतिष्ठानों में संचालित अत्याधुनिक अनुसंधान और विकास (आर एंड डी) परियोजनाओं में शामिल होने का एक अनूठा अवसर प्रदान करने के लिए तैयार किया गया है, तो चलिए इसके बारे में विस्तार से जानते है।
DRDO इंटर्नशिप योजना की प्रमुख विशेषताएं
डीआरडीओ इंटर्नशिप छात्रों को रक्षा प्रौद्योगिकी से सीधे संबंधित क्षेत्रों में काम करने का मौका देती है, जिससे उन्हें अनुसंधान एवं विकास में अमूल्य अनुभव प्राप्त होता है। इस योजना की कुछ मुख्य विशेषताएं नीचे निम्नलिखित है।
- प्रासंगिक क्षेत्रों में इंटर्नशिप प्रशिक्षण: प्रशिक्षण में रक्षा क्षेत्र से संबंधित विषयों और परियोजनाओं को शामिल किया जाएगा, जिससे प्रशिक्षुओं को क्षेत्र के विशेषज्ञों से सीखने का अवसर मिलेगा।
- परियोजना संघ: प्रशिक्षु चल रही अनुसंधान परियोजनाओं में प्रत्यक्ष रूप से शामिल होंगे तथा अत्याधुनिक प्रौद्योगिकियों के विकास में योगदान देंगे।
- प्रयोगशाला/प्रतिष्ठान पत्राचार: छात्रों को अपने संबंधित कॉलेजों या संस्थानों के समन्वय से, अपने अध्ययन के क्षेत्र से संबंधित डीआरडीओ प्रयोगशाला या प्रतिष्ठान से संपर्क करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
- रिक्ति पर निर्भर अनुमोदन: इंटर्नशिप के अवसर उपलब्धता के अधीन होंगे और संबंधित लैब निदेशक द्वारा अनुमोदित होना चाहिए।
- कोई रोजगार दायित्व नहीं: इस योजना में भाग लेने से प्रशिक्षण पूरा होने पर डीआरडीओ में रोजगार की गारंटी नहीं मिलती है।
क्या है DRDO ?
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (DRDO) भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के तहत काम करने वाली एक प्रमुख शोध संस्था है, जो रक्षा प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अनुसंधान और विकास कार्य करती है। इसकी स्थापना 1958 में भारतीय सेना के तकनीकी विकास प्रतिष्ठान और रक्षा विज्ञान संगठन के विलय के रूप में की गई थी। DRDO का मुख्यालय नई दिल्ली में स्थित है, वर्तमान में इसके अध्यक्ष डॉ. समीर वी कामत हैं।
DRDO की उपलब्धियां
DRDO ने भारत की प्रमुख मिसाइलें जैसे कि अग्नि, पृथ्वी व ब्रह्मोस विकसित की। इसके अलावा तेजस लड़ाकू विमान, अर्जुन टैंक और पिनाका रॉकेट लॉन्चर भी DRDO की उपलब्धियों में शामिल हैं। DRDO ने COVID-19 के दौरान 2DG दवा विकसित की थी।
4 हफ्ते से 6 महीने तक की होगी इंटर्नशिप
इंटर्नशिप की अवधि 4 हफ्ते से 6 महीने तक होती है, जो कोर्स और लैब डायरेक्टर पर निर्भर करता है। इंटर्न्स सिर्फ DRDO की उन जगहों पर जा सकते हैं, जहां कोई गोपनीय सीक्रेट जानकारी नहीं होती। इंटर्नशिप खत्म होने के बाद DRDO नौकरी देने के लिए बाध्य नहीं है। अगर इंटर्नशिप के दौरान कोई दुर्घटना हो जाती है, तो DRDO मुआवजा नहीं देगा।
DRDO इंटर्नशिप में आवेदन कैसे करें
इच्छुक छात्रों को अपने अध्ययन के क्षेत्र से संबंधित DRDO प्रयोगशाला या प्रतिष्ठान की पहचान करनी चाहिए और अपने कॉलेज या विश्वविद्यालय के माध्यम से आवेदन करना चाहिए। DRDO भारत के रक्षा मंत्रालय की अनुसंधान और विकास (आर एंड डी) शाखा है। इसका लक्ष्य उन्नत रक्षा प्रौद्योगिकियों का विकास करना और भारत को प्रमुख रक्षा प्रणालियों में आत्मनिर्भर बनाना है। डीआरडीओ सशस्त्र बलों को उनकी ज़रूरतों के आधार पर आधुनिक हथियार और उपकरण उपलब्ध कराने का काम करता है।
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